
परवरीश
देख बेटा ईतनी बाते
ध्यान में रखना-
कोना पकडकर सब जा रहे
हो वैसे ही सब के साथ- साथ चलना,ज्यादा बिच में नहीं जाना,उन लोगो की नजर में नहीं
आना।
सिख दे रही चिंटी और
उसका बेटा(बाल चिंटी) दोनो पर अचानक जोर से एक जूता आया…..और तड़पते-तड़पते चिंटीयो
ने ईतना सुना, “अलुलुलुउ…,चिंटी ने ऐसा किया मेरे बेटे को,देख कुछ भी नहीं लगा,देख
बेटा चिंटी मर गई,देख।”
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सुख
आधी रात को धरतीकंप
से घर कंपीत हो उठा।आफ्टरशॉक के भय से ईमारत में से सब लोग बहार आ के खुले मेंदान में
धड़कते दिल से पहुँचे।गभराहट में सभी लोग ईश्वर को प्रार्थना करने लगे।ये देख के मेंदान
के एक कोने में सो रहे पति-पत्नी नींद से जागकर एक दूसरे के सामने देखा,पति ने पत्नी
से कहा, “तुम पूछती थी ना की सुख किसे कहते हैं? देख आज हम कीतने सुखी हैं!”
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मछली की प्यास
अपनी मस्ती में तैरती
मछली को आसमान में उड़ते हंस ने पूछा, “ अरे ! ओ मछली, तुं तो चोबीसो घंटे पानी में
रहती हो,क्या तुम्हे भी प्यास लगती हैं?”
मछली ने मुश्कुराकर
सिफ़त से कहा, “ हा,मुझे भी बाहर रही हुई हवा की तलब हैं,मैं भी युं ही पानी में रहे
ऑक्सीजन के बुलबुले को बाहर नहीं निकालती।”
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